हिमाचल प्रदेश सरकार ने निजी विश्वविद्यालयों की पारदर्शिता और जवाबदेही सुनिश्चित करने के उद्देश्य से हिमाचल प्रदेश प्राइवेट शिक्षा संस्था संशोधन विधेयक 2024 को विधानसभा में पारित किया है। इस संशोधन के तहत प्रदेश के 16 निजी विश्वविद्यालयों की वार्षिक रिपोर्ट और वार्षिक लेखे को विधानसभा में प्रस्तुत करना अनिवार्य किया गया है। इससे विश्वविद्यालयों की गुणवत्ता मॉनीटरिंग और उनके क्रियाकलापों की पारदर्शिता सुनिश्चित की जा सकेगी।
शिक्षा मंत्री रोहित ठाकुर ने बताया कि इस संशोधन से निजी विश्वविद्यालयों के वित्तीय और अन्य संबंद्ध क्रियाकलापों की निगरानी में पारदर्शिता आएगी। सरकार ने यह कदम निजी विश्वविद्यालयों की मनमानी पर अंकुश लगाने के उद्देश्य से उठाया है। इस विधेयक को अधीनस्थ विधायन समिति की ओर से अनुमोदित किया गया है, जिसका मुख्य उद्देश्य विनियामक आयोग और निजी विश्वविद्यालयों की ऑडिट रिपोर्ट को सदन के समक्ष रखना है।
प्रदेश में शिक्षा की गुणवत्ता को बनाए रखने के लिए हिमाचल प्रदेश निजी शिक्षा संस्था विनियामक आयोग का गठन किया गया है। यह आयोग साल के अंत में निजी विश्वविद्यालयों की रिपोर्ट और लेखे तैयार करेगा, जिसे राज्य सरकार के माध्यम से विधानसभा के समक्ष पेश किया जाएगा। इस व्यवस्था से विश्वविद्यालयों की पारदर्शिता और जवाबदेही बढ़ेगी, जिससे उनके संचालन में सुधार होगा।